कोरोना न्यूज़ अपडेट-28/12/2022

कोरोना न्यूज़ अपडेट

नागौर जिले में daily  100 से 200 सैंपल टारगेट रखा गया है

 और उसके बाद daily 15 सेशन 2000 सैंपल का टारगेट रखा गया है

 चीन में कोरोना ने अपना कहर बरपा ना फिर से चालू हो गया है

और कोरोना को लेकर बार सरकार ने भी अलर्ट भी जारी कर दिया है राजस्थान के स्वास्थ्य विभाग में भी पूरी तैयारियां शुरू कर दी गई है

नागौर जिले में लगभग 11 ब्लॉक पर हर एक ब्लॉक 100  सिंपल रोज लेने की तैयारी बड़े अस्पतालों में 200 सैंपल प्रतिदिन के हिसाब से टारगेट किया जा रहा है के टारगेट अभी दो-चार दिन में शुरू होने वाला है और इसको लेकर पूरी तैयारी की जा रही है

 स्वास्थ्य विभाग के अनुसार अधिक से अधिक सैंपल  हो ताकि क्रोरोनो  के केस को समय रहते हुए सैंपलिंग की  जा सके

 कोरोना से बचाना है तो जयादा से जयादा सैंपल करें तो पॉजिटिव ताकि दर में भी काफी कमी आएगी

 हॉस्पिटल  में इन दिनों सर्दी जुखाम के केस काफी बढ़ रहे हैं और बच्चों और महिलाओं में तो आखिर काम ज्यादा हो रहा है बुजुर्गों में भी हो रहा है अस्पताल की ओपीडी डिपार्टमेंट में अधिकांश मरीज इसी के पहुंच रहे हैं हॉस्टल में हर रोज 40 से 50 सैंपल किए जा रहे हैं लेकिन सैंपलिंग  कम हो रही है अभी 11 ब्लॉक पर 40 -50 का  टारगेट दे दिया गया है कि प्रतिदिन 100 सैंपलिंग की  किया जाए

 जयपुर न्यूज़ –

जयपुर के जयपुर हॉस्टल में इन दिनों ब्लड की जांच  करवाने वाले मरीजों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है

और माइक्रोबायोलॉजी लैब में ब्लड टेस्ट करने की खुली ऑटो एनालाइजर मशीन पिछले 1 महीने से खराब हो गई थी

 जिसको भी तक रिपेयर नहीं हुआ क्या गया है जैसे तैसे करके छोटी मशीनों से ही काम चलाया जा रहा है और मशीन  खराब हो गई थी जिसके कारण अब ब्लड टेस्ट नहीं हो पा रहे हैं

 ब्लड टेस्ट करने के लिए सैंपल को जांच के लिए आर यू एच एस भी जाना पड़ रहा है सूत्रों के मुताबिक बड़ी मशीन को खराब हुई हुए 1 महीना हो गया है और प्रशासन इसको भी तक रिपेयर नहीं करवा रहा है

जबकि मशीनों के रखरखाव के लिए हर साल लाखों रुपए  बजट का टेंडर किया जाता है और सरकार इस पर लाखों तो खर्च करती है लेकिन प्रशासन की लापरवाही की वजह से इसका पूरा खामयाजेना  बेचारे मरीजों को भुगतना पड़ता है

 सूत्रों के मुताबिक जयपुर हॉस्टल की लैब में रखी गई

मशीनों के रखरखाव का जिम्मा कीर्ति पी एल नाम की कंपनी के पास है लेकिन कंपनी के इंजीनियर पिछले महीने 1 महीने से भी मशीन को ठीक नहीं करवा पा रहे हैं और कंपनी के प्रतिनिधियों ने भी हॉस्टल प्रसंग बताया कि कंपनी की मशीन है कंपनी से  करवा रही है

 जिसके कारण इंजीनियर मशीन को ठीक नहीं करवा पा रहे हैं पढ़ाई के कारण मरीजों को प्रसन्न हो पढ़ रहा है और बड़ी हॉस्पिटल भी कंपनी के खिलाफ कोई एक्शन नहीं ले पा रहा इससे पहले भी यहां पर कुछ मशीनें खराब हो चुकी है जिंदगी कराने का लंबे समय तक आना पड़ा था

  मशीन की खास बात यह है कि इसमें 1 घंटे में डे 12 00  टेस्ट होता है जिसमें कई तरीके ब्लड शुगर के एसजीओटी लिपिड प्रोफाइल की टीम सीबीसी समिति के तरीके की जांच होती है

Post by-Gulab Chand Prajapati

 

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